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Showing posts from 2020

Nityanand & Ritika Roy

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Nityanand & Ritika Roy (Both Amway Business Owners | Gurgaon) हम दोनों कम उम्र में अपनी नौकरी से सेवानिवृत्त हो गए और अब पूर्णकालिक माता-पिता हैं।  हम वास्तव में हमारे uplines, downlines और हमारे दो बच्चों के लिए आभारी हैं: बेटी तनिष्का (12) और बेटा रित्विक (4)।  एमवे से पहले हम एक साधारण युगल थे।  लेकिन हमारे महान उत्थान और बीडब्ल्यूडब्ल्यू सिस्टम की सलाह ने हमारी सफलता में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई, दोस्तों!  सीडी, बुक्स और फ़ंक्शंस के माध्यम से इसकी शिक्षाओं के कारण, हम अपने अत्यंत प्रभावी नेटवर्क का निर्माण कर सकते हैं।  दोस्तों याद रखें, 21 वीं सदी में अच्छा होना काफी नहीं है।  आपको अच्छा और सफल होना है।  इसलिए यदि आपने दौड़ शुरू कर दी है, तो इसे अंत तक पूरा करें See YouTube Links 👇 1. When You Serve, You Receive By Ritika Roy We both retired from our jobs at a young age and are full time parents now. We are truly thankful to our uplines, downlines, and our two kids: daughter Tanishka (12) and son Rhitwik (4). Bef...

PRIYAMWAD KUMAR & SUNITA KUMARI

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PRIYAMWAD KUMAR & SUNITA KUMARI सुनीता जन्म, बिहार के बेगूसराय जिले में, एक मध्यम वर्गीय परिवार में हुआ । उन्होंने अपना M.A. , भागलपुर यूनिवर्सिटी से पूरा किया। उनके पिता ने, उनमें धीरज, विश्वास और संयम जैसे गुणों का विकास किया। भागलपुर में, पडोसी होने के कारण वे, प्रियम्वद के संपर्क में आयीं। उन्हें, उनका व्यक्तित्व अच्छा लगा, और परिणाम स्वरुप वर्ष १९९० में वे शादी के बंधन में बंध गए। प्रियम्वद एक मैकेनिकल इंजीनियर हैं। लेकिन जल्द ही उन्होंने सिविल सर्विस की परीक्षा दी, और इसे पास करने के बाद सरकारी नौकरी में, एक प्रतिष्ठित पद पर सेवारत हो गए। उनकी दो बेटियां, भव्या एवं शरन्या और एक बेटा, तनय तीक्ष्ण है। वे हमेशा से अपना जीवन, सिद्धांतों और स्वतंत्रता से जीना चाहते थे। वे एक खुशहाल और बेहतर जीवन चाहती थीं। वे एक ऐसा जीवन चाहती थीं, जो दूसरों की जिंदगी को भी बेहतर बना सके। प्रियंवद हमेशा कहते हैं कि, सफलता एक मंजिल नहीं बल्कि, एक कभी न ख़त्म होने वाली यात्रा है। फिर भी सब कुछ एक रहस्यमय आवरण में छुपा हुआ सा लगता है । उस दौरान, उनके एक दूर के रिश्तेदार ने, उन्हें...

Alok & Bhavna Upadhyay

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Alok & Bhavna Upadhyay आलोक एवं भावना दोनों ही देहरादून के रहने वाले हैं। उनके दो प्यारे बच्चे हैं अक्षत, जो कि १६ वर्ष का है और वैष्णवी, जो कि १३ वर्ष की है। वे कहते हैं कि "उनके बच्चे ही बह कारण है जिसकी वजह से उन्होंने डायरेक्ट सेलिंग बिज़नेस बिल्ड किया। हम उन्हें एक बेहतर जीवनशैली देना चाहते हैं और हम जानते हैं कि हमारे सपनों को पाने का, डायरेक्ट मैलिंग बिज़नेस ही उपयुक्त जरिया है। डायरेक्ट सेलिंग बिज़नेस को चलाने की उनकी फिलोसोफी है कि " आप जितनी ज्यादा मेहनत कर सकते हो करो ताकि आप ज्यादा से ज्यादा कमा सको और ज्यादा से ज्यादा लोगों की मदद कर सको और साथ ही इस जी का इसकी चरम सीमा तक आनंद ले सको। इस बिज़नेस के अवसर और सामर्थ्य के बारे में वे कहते हैं कि "यदि आप इसे सही तरीके से करते हो तो यह एक असाधारण चीज है। जब आप यह बिज़नेस करेंगे तो आप जानेंगे कि भगवान ने आपके ऊपर कितनी कृपा की है"। बे भगवान का शुक्रिया करते हैं जिसने उन्हें इस बिज़नेस को बिल्ड करने का निर्णय लेने की बुद्धि प्रदान की। इस बिज़नेस को बिल्ड करने की प्रक्रिया के बारे में वे...

NITESH & ANKITA DIXIT

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NITESH & ANKITA DIXIT (Both Amway business owner Lucknow) See YouTube Links 👇 1. Apni Keemat Ko Pehchaniye I was an average student, pursuing B.Com first year when I joined immense business opportunity. I didn’t have any idea of its potential and pursued it only for some pocket money but future had something else in store for me. I got associated with some successful business leaders who gave me the vision, owing to which it started giving high dividends. It was then that I realised the true potential of the business and started taking it very seriously. My father was an Executive Engineer and my mother is a simple housewife. I have one elder sister, two younger brothers and one younger sister. We lost our father in a road accident, when I was in class X. I was very concerned about my family and had a big question in my mind: “How will our family life move on?” I wanted to provide my family whatever they desired but didn’t have any concrete solut...

KULIN & MINA DESAI

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KULIN & MINA DESAI (Data Processor & Homemaker, Mumbai, Maharashtra) कुलीन कहते हैं कि, "मैं बहुत सारे सपनों के साथ अमेरिका आया था -एक अच्छी कार, अच्छा घर, लेकिन वो केवल सपने बन कर ही रह गए। अहमदाबाद, गुजरात के, एल. एम कॉलेज ऑफ फार्मेसी से पढ़ाई पूरी करने के बाद, वर्ष १९७७ में कुलीन ने इंडिया छोड़ दिया। युएस आने के बाद कुलीन न्यू यॉर्क की एक बड़ी बैंक में क्लर्क के तौर पर काम करने लगे, जहां उन्हें लगा कि वे सफल हो सकते हैं। बाद में भारतीय रिवाजों के अनुसार उनकी शादी मीना से हुई, जो उनके एक पारिवारिक मित्र की बेटी थीं। कुलीन बताते हैं कि, "प्यार बाद में हुआ लेकिन हमें लगा कि, हम साथ साथ चल सकते हैं। मीना ने जय हिन्द कॉलेज ऑफ़ मुम्बई से, इकोनॉमिक्स में डिग्री ली है। बैंक के डाटा प्रोसेसिंग के वाइस प्रेसिडेंट के तौर पर काम करते हुए उन्होंने अपने "अमेरिकन सपने" पूरे कर लिए थे। उनके पास पर्याप्त पैसा था, लेकिन समय की कमी थी. क्योंकि उन्हें हर हफ्ते 60-70 घंटे काम करना पडता था उनके पास जॉब सिक्योरिटी नहीं थी। वे कहते हैं कि मुझे लगा कि मैं एक स्वतं...

TIRTHANKAR & SUPARNA DUTTA

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TIRTHANKAR & SUPARNA DUTTA (Researcher & System Analyst, Kolkata, West Bengal जो दरवाजा, आप रोज खोलते और बंद करते हैं, वही निर्धारित करता है कि, आपका भविष्य क्या होगा। तीर्थाकर एवं सुपर्णा, भगवान को धन्यवाद देते हैं, जिगने उन्हें इस अविश्वसनीय व्यवसाय की क्षमताओं को समझने की बुद्धि दी। वे कलकत्ताने हैं, और अब यूएस में रह रहे हैं। दोनों ही इंजीनियरिंग स्नातक  हैं, और उच्च शिक्षा के लिए युएस जाने से पहले, वे दोनों एक बड़ी अंतराष्ट्रीय कंपनी के साथ काम कर रहे थे। अपनी पढ़ाई पूरी करने के बाद वे, एक बड़े यूएस ऑपरेशन में काम करने लगे। शुरू में उन्हें लगा कि, उच्च शिक्षा और अच्छी नौकरी सफलता की निशानी है। उन्हें नहीं पता था कि कुछ वर्षों में वे ऐसे लोगों में शामिल हो जायेंगे, जो किसी और के सपनों को पूरा करने के लिए, ९-५ की थका देने वाली नौकरी कर रहे हैं, जहाँ सीमित आमदनी और परिवार के लिए समय का अभाव होता है। जल्द ही वे, तनाव, आर्थिक असुरक्षा और समय के अभाव के बीच फॅस कर रह गए । सुपर्णा याद करते हुए कहती हैं कि, "हम ७-८ बजे घर आते और खाना खाते और टी. वी. देखकर अगले...

SATWINDER KAUR & KULDIP SINGH SAINI

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SATWINDER KAUR & KULDIP SINGH SAINI (Civil Engineer & Ex Teacher Jalandhar) मैंने, १९८५ में अपनी स्नातक, सिविल इंजीनियरिंग में पूरी की। एक वर्ष तक, उसी कॉलेज में लेक्चरर के तौर पर काम किया। उसके बाद पब्लिक सर्विस कमिशन के माध्यम से डिविजनल इंजीनियर के पद पर पंजाब सरकार के साथ काम करने लगा। उसके बाद मुझे पदोन्नति की वजह मे, वाटर सप्लाई डिपार्टमेंट में एग्जीक्यूटिव इंजीनियर का पद मिला। १९९० में, मेरी सतविंदर से शादी हुई, जो साइंस की शिक्षिका हैं। हमारी एक बेटी सुनंदिता और एक बेटा, प्रकाश है। नौकरी के १४ वर्ष बाद मुझे अच्छा वेतन मिल रहा था। लेकिन ये केवल दिखाने के लिए था। हमारा जीवन समझौतों से भरा हुआ था। नौकरी में काम करना बहुत मुश्किल था, और कभी-कभी प्रतिष्ठा से भी समझौता करना पड़ता था। हमने कनाडा के परमानेंट इमीग्रेशन के लिए अप्लाई किया।और इ-कॉमर्स और फ्रेंच भी सीखना शुरू कर दिया, जिससे हम ठीक से कनाडा में मेटल हो सकें। इस दौरान, मेरे ससुर श्री केवल सिंह, जो रिटायर्ड प्रिंसिपल है, के माध्यम से हमारी डायरेक्ट सैलिंग बिज़नेस / व्यवसाय से पहचान हुई । Bww सिस्टम के द्...

Anurag & Nidhi Agarwal

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Anurag & Nidhi Aggarwal   (MBA Students Ghaziabad (U.P.)  मेरी पत्नी  निधि, एक उद्योगपति परिवार से हैं, लेकिन मैं, एक ऐसे परिवार से हूँ, जहाँ सभी सर्विस में हैं। वास्तव में, मैं अपने परिवार में पहला और इकलौता व्यवसायी हूँ। मेरी एम. बी. ए. की पढाई के दौरान, मैं निधि से मिला। मेरी योजना यु, एस. जाने की थी, लेकिन निधि, भारत में ही रहना चाहती थीं। इसीलिए हमनें अपना भविष्य यहीं बनाने का फैसला लिया। उस समय, मेरे सामने सबसे बड़ी चुनोती, कुछ बड़ा करने की थी, जिससे निधि के परिवार के सामने, मैं अपनी छवि अच्छी बना सकूँ । मैंने एक बेहतर और मुरक्षित भविष्य के लिए द्रण संकल्प किया, क्योंकि मैंने उन परिवारों को देखा था, जो आर्थिक रूप से कमजोर थे निधि उन समस्याओं से भली-भाँति परिचित थी, जिनका सामना एक व्यक्ति को, पारंपरिक व्यवसाय में करना पड़ता है- आर्थिक अस्थिरता। जब निधि, अपनी स्नातक पूरी कर रही थीं, उन्होंने अपने पिता को खो दिया। वो बहुत ही कठिन समय का सामना कर रही थीं, और आर्थिक परेशानियों ने उनकी समस्या को और भी बड़ा कर दिया। जब मैं, एम. बी. ए. के तीसरे सेमिस्टर में ...

SUMEET & TANYA BAHADUR

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SUMEET & TANYA BAHADUR (Computer Engineers, New Delhi) सुमित एवं तान्या, दोनों ही कंप्यूटर इंजिनीयर्स हैं, और उन्होंने अपनी मास्टर डिग्री यु. एम. से पूरी की। सुमित ने, आई.आई.टी. देहली से अपनी मानक डिग्री, कंप्यूटर साइंस एंड इंजीनियरिंग में पूरी की और तान्या, कीव टेक्निकल इंस्टिट्यूट से इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग में स्नातक हैं। यूनाइटेड स्टेट में, यूनिवर्सिटी में पढ़ाई के दौरान, इन दोनों की मुलाकात हुई। वे दोनों, वहाँ अपने तनाव मुक्त जीवन का सपना, पूरा करने के लिए गए थे। लेकिन अपने अपने करियर में उन्हें महसूस हुआ कि, कंप्यूटर कंसलटेंट के तौर पर उनकी नौकरी, हर दिन उन्हें एक दूसरे से दूर ले जा रही थी। मलेशिया के एक सहकर्मी द्वारा, उनका इस व्यवसाय से परिचय हुआ। इस व्यवसाय को समझने के बाद, तान्या आस्वस्त थीं कि, यही वो अवसर है, जिसकी उन दोनों को, उनके जीवन में तलाश थी। सुमित ने इस व्यवसाय से जुड़ने में कुछ समय लिया, लेकिन एमवे कारपोरेशन की प्रतिष्ठा और डायमंड और उससे बड़े लोगों की प्रोफाइल देखने के बाद, वे भी इस व्यवसाय के प्रति आस्वस्त हो गए। वे कई सेमिनार में शामिल हुए और ...

MANIPAL & RENUKA REDDY

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MANIPAL & RENUKA REDDY (Computer Consultants, Hyderabad, Andhra Pradesh) हम दोनों की ही, हैदराबाद, इंडिया में पले-बढ़े होने की, बहुत अच्छी यादें हैं। जैसा कि इंडिया में सामान्य है, रेणुका एक बहत बड़े परिवार का हिस्सा रही हैं। मैं एक छोटे घर में, अपने चार भाइयों के साथ पैदा हुआ, और अपने परिवार के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध हूँ। हम दोनों ही पेशे से इंजीनियर थे, और महत्वाकांक्षी थे। न्यू जर्सी इंस्टिट्यूट ऑफ़ टेक्नोलॉजी से, कंप्यूटर साइंस में अपनी मास्टर डिग्री करने के लिए बे, १९८५ में यूनाइटेड स्टेट्स आ गए। वर्ष १९९८ में, जब हमारे मित्र, सुधीर एवं सुलभा सोलापुरकर ने हमें इस व्यवसाय से परिचित कराया, तब हम अपने टेलीकम्यूनिकेशन करियर में बहुत सफल थे, और एक बहुत अच्छा वेतन प्राप्त कर रहे थे। मैंने ये अवसर देखा और जिम्मेदारी ली। आज, देश में और विदेशों में हमारा एक बहुत बड़ा आर्गेनाईजेशन है। वर्ष १९९० में, प्लैटिनम बनने तक मैंने, अकेले ही, इस व्यवसाय को बढ़ाया, उसके बाद रेणुका भी इस व्यवसाय से जुड़ गयीं। साथ काम करते हुए, जून १९९४ में हम 'रूबी' और फिर अगस्त १९९६ में डायम...

Dr. Harbhajan & Dr.Mohinder Braich

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Dr. Harbhajan & Dr.Mohinder Braich (Former Physicians, Jalandhar - Punjab) "आइलैंड ऑफ़ फाइव रिवर" और इंडिया के सबसे अमीर और शानदार राज्यों में से एक, ट्रिपल डायमंड और फाउंडर कॉउन्सिल मेंबर, डॉ. हरभजन एवं डॉ. मोहिंदर का घर है। इन दोनों मफल डॉक्टर्स ने आनी रोजाना की ज़िन्दगी से परेशान होकर, व्यवसाय के माध्यम से आर्थिक और निजी स्वतंत्रता पाने के लिए, अपनी नौकरियां छोड़ दी। उन्होंने, पंजाब के एक मध्यम वर्गीय परिवार में, मेहनती माता पिता के घर जन्म लिया। बचपन से ही डॉक्टर बनने की इच्छा की बजह मे, दोनों ने ही अपनी एम. बी. बी. एस पूरी बार ली। वर्ष १९७० में उन्होंने शादी कर ली, और उसके बाद वे दो बजों, लवलीन एवं हरलीन के माता पिता बन गए। लवलीन और हरलीन भी इसी व्यवसाय में हैं, और एक सफल एवं स्वतंत्र जीवन का आनंद ले रहे हैं। १९७० में हरभजन और मोहिंदर ने खुद का अस्पताल खोला और दिन रात मेहनत करके आर्थिक रूप से मजबूत हो गए। अच्छी आमदनी होने के बावजूद भी वे, दिमागी तौर पर संतुष्ट नहीं थे। उन्हें लगा कि, उनके पास पैसा तो है, पर जीवन का आनंद लेने के लिए समय नहीं है। पुराने स...

Raj & Sangita Shah

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Raj & Sangita Shah (Computer Consultant & Accountant, Vadodara, Gujarat) राज और उनकी पत्नी, संगीता दोनों ही बड़ोदा, इंडिया के रहने वाले हैं। जब राज १५ वर्ष के थे, तब उनका सपना था कि, वे अपने परिवार और उनके साथ लोगों का जीवन बदल देंगे। बिजनेस में अपनी डिग्री पूरी करने के बाद, राज अपनी पढ़ाई जारी रखने के लिए अमेरिका आ गए, और वहां से कंप्यूटर साइंस में मास्टर डिग्री ली। कुछ वर्ष पहले, जब मंगीता छोटी थीं, उनके माता पिता न्यू जर्सी आ गए| अपनी शिक्षा और लगन से, राज और संगीता दोनों ही एक बड़े कारपोरेशन में, अच्छी आमदनी वाली नौकरी में थे। उनकी आमदनी अच्छी थी, और जीवन भी बेहतर था, लेकिन कुछ कमी थी। राज को १-५ का सिस्टम पसंद नहीं था। संगीता के लिए भी कॉर्पोरेट वर्ल्ड में सार्थक जीवन नहीं था। वे अपने परिवार को बढ़ाना चाहते थे लेकिन अपने करियर को जारी रखने के लिए, उन्हें बेबीसिटर पर निर्भर होना पड़ता।  वे जानते थे कि कहीं कुछ बेहतर हैं। संगीता के पिता ने, जो डायरेक्ट सैलिंग बिज़नेस डिस्ट्रीब्यूटर बने ही थे, राज को SA ४४०० पड़ने के लिए कहा और वे इस अवसर से प्रभावित हुए...

Shivaram & Anjali Kumar

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Shivaram & Anjali Kumar (Software Consultant & Travel Agent, Mumbai) शिवराम और अंजलि, दोनों ही इंडिया, मुम्बई में बड़े हुए, लेकिन यूनाइटेड स्टेट्स जाने मे पहले वे कभी नहीं मिले। वे दोनों एक ही समय पर यूनाइंटेड स्टेस पहुंचे, शिवराम, कंप्यूटर इंजीनियरिंग में अपनी मास्टर डिग्री और अंजलि, अपनी बहन की शादी में शामिल होने के लिए। शिवराम कहते हैं कि, "हम आगे आने वाले परिणाम को लेकर सुनिश्चित थे - हमारा यकीन था कि, ये भगवान की योजना थी। मैं यूएस में, सबसे ज्यादा आमदनी वाले ५% लोगों में था, और एक स्वतंत्र कंप्यूटर कंसल्टेंट के तौर पर काम कर रहा था। और अंजलि ट्रेवल कंसलटेंट के तौर पर अपने करियर को बडढ रही थीं। मनिपाल रेड्डी मेरे जीवन में इस व्यवसायिक अवसर को लेकर आये। शिवराम ने इसे, शुरुआत में एक व्यवसाय की तरह देखा ही नहीं। वे केवल आई. बी. ओ. को मिलने वाला हेल्थ इंश्योरंम लेना चाहते थे। शिवराम इससे जुड़ गए लेकिन कई महीनों तक कुछ नहीं किया। उन्हें नहीं पता था कि, उनका नजरिया न केवल एक छोटे मे हित से बदलकर, उत्साह और लगन में परिवर्तित हो जायेगा, बल्कि उनके सपने भी इंश्योर...

KAUSHIK & SUBHA DUTTA

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KAUSHIK & SUBHA DUTTA (Development officer & Government Service, Kolkata) मैं, पश्चिम बंगाल के एक छोटे से गाँव पांसकुड़ा, में पैदा हुआ, जो कोलकाता में ८०कि.मी.दर है। मेरे पिता, एक रिटायर्ड कॉलेज टीचर हैं, और मेरी माँ गृहणी हैं। मैं एंश्रोपोलॉजी से स्नातक करने के लिए कलकत्ता आया और वहां, मैं अपनी क्लासमेट शुभा से मिला। मुभा, कलकतता में पैदा हुई और उनके पिता एक इंजीनियर और व्यवसायी थे। उनकी माँ - सुभा, को करने से इस व्यवसा तेजी से बढ़ गए। फिर दौरान कई और आखि भी गृहणी थीं। उनके दो छोटे भाई और एक बहन थी। यूनिवर्सिटी ऑफ़ कलकत्ता के बी. एम. महसूस हो मी. और एम. एस. सी. के एग्जाम में, वे प्रथम रहीं। हम दोस्त बन गए और गांधोपोलॉजी में स्नातक के बाद, शादी करने का फैसला ले मुझे एक प्रख्यात न.जी.ओ. में नौकरी मिल गयी। मुभा का, पश्चिन बंगाल सिविल सर्विस में, एक सरकारी नौकरी के लिए चयन हो गया। हम दश थे, और अपने गृहस्त जीवन का आनंद ले रहे थे। हमारे बहुत से सपने थे, लेकिन हमें अपनी नौकरी से उन्हें पूरा करने का कोई रास्ता नजर नहीं आ रहा था। हमारी परिस्थिति को बदलने के लिए कोई रास्ता न...